Saturday, October 3, 2020

लायंस क्लब्स इंटरनेशनल डिस्ट्रिक्ट 321 ए थ्री में सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के लिए अशोक मनचंदा की सक्रियता को देख, पूर्व गवर्नर अजय बुद्धराज ने दिनेश जैन को चुनावी मैदान में उतार तो दिया - लेकिन दिनेश जैन ने अपने आप को उनका उम्मीदवार बता कर उनकी मुसीबत बढ़ा दी है

नई दिल्ली । दिनेश जैन ने सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद की अपनी उम्मीदवारी के लिए समर्थन जुटाने की कोशिशें शुरू करके तथा अपनी उम्मीदवारी को पूर्व गवर्नर अजय बुद्धराज के समर्थन का दावा करके डिस्ट्रिक्ट की चुनावी राजनीति में गर्मी पैदा कर दी है । दिनेश जैन के दावे पर लोगों ने अजय बुद्धराज से पूछना शुरू कर दिया है कि दिल्ली के दूसरे पूर्व गवर्नर्स से विचार-विमर्श किए बिना उन्होंने सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के लिए अपना उम्मीदवार क्यों खड़ा कर दिया है ? अजय बुद्धराज के लिए इस सवाल का जबाव देना मुश्किल बना हुआ है - दरअसल वह समझ रहे हैं कि यदि वह दिनेश जैन को अपना उम्मीदवार कहने/बताने से इंकार करते हैं, तो दिनेश जैन की संभावनाओं को चोट पहुँचायेंगे; और यदि 'हाँ' कहते हैं, तो अपनी अलग राजनीति करने के दोषी ठहराए जायेंगे । उल्लेखनीय है कि डिस्ट्रिक्ट के पूर्व गवर्नर्स के बीच यह अंडरस्टैंडिंग बनी है कि सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के उम्मीदवार का फैसला दिल्ली के पूर्व गवर्नर्स आपस में सहमति बना कर घोषित करेंगे । ऐसे में, दिनेश जैन ने अजय बुद्धराज की हरी झंडी मिलने के बाद उम्मीदवार बनने की बात कह कर डिस्ट्रिक्ट में उबाल लाने के साथ-साथ अजय बुद्धराज के लिए मुसीबत भी खड़ी कर दी है ।
अजय बुद्धराज के नजदीकियों का कहना/बताना है कि अजय बुद्धराज ने तो दिनेश जैन को दिल्ली के सभी पूर्व गवर्नर्स तथा वरिष्ठ व सक्रिय लायन सदस्यों व नेताओं से मिलने-जुलने और बात करने का सुझाव दिया था, जिससे कि उनकी उम्मीदवारी को लेकर एक सकारात्मक माहौल बने - लेकिन दिनेश जैन ने अजय बुद्धराज के समर्थन की बात कहते/बताते हुए सारी पोल खोल दी और बात का बतंगड़ बना दिया । यहाँ यह याद करना प्रासंगिक होगा कि दिनेश जैन ने कुछेक वर्ष पहले भी उम्मीदवार बनने की कोशिश की थी, लेकिन राजनीतिक अनुभवहीनता के कारण उन्होंने ऐसी बातें और हरकतें कीं कि माहौल उनके खिलाफ हो गया, और फिर अजय बुद्धराज ने भी उनके समर्थन से हाथ पीछे खींच लिए - और तब दिनेश जैन ने चुप लगा लेने में ही अपनी भलाई देखी थी । दिनेश जैन को जानने वाले लोगों का मानना और कहना है कि दिनेश जैन एक अच्छी भावना और सोच रखने वाले व्यक्ति हैं, विवादों में पड़ने से बचते हैं और जेनुइन तरीके से काम करने की कोशिश करते हैं; लेकिन उनकी समस्या यह है कि वह एक उम्मीदवार की तरह 'व्यवहार' करना नहीं जानते हैं - और न सीखना चाहते हैं । लोगों का कहना है कि दिनेश जैन को बहुत पहले डिस्ट्रिक्ट गवर्नर बन जाना चाहिए था, लेकिन अपनी एक कमजोरी के कारण उन्हें अभी भी डिस्ट्रिक्ट गवर्नर बनने के लिए इंतजार करना पड़ रहा है ।
दिनेश जैन के शुभचिंतक इसके लिए अजय बुद्धराज को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं । उनका कहना है कि अजय बुद्धराज को जब दिनेश जैन की खूबियों और कमजोरियों के बारे में अच्छे से पता है, तो उन्हें दिनेश जैन को ठीक से ट्रेनिंग देना चाहिए थी । लोगों के बीच चर्चा है कि अशोक मनचंदा को उम्मीदवार के रूप में सक्रिय देख कर अजय बुद्धराज ने जल्दबाजी में दिनेश जैन को चुनावी मैदान में उतार दिया है । अशोक मनचंदा चूँकि पूर्व गवर्नर दीपक टुटेजा के क्लब के सदस्य हैं, इसलिए उन्हें दीपक टुटेजा के उम्मीदवार के रूप में देखा/पहचाना जा रहा है । अशोक मनचंदा भी कुछेक वर्ष पहले उम्मीदवार बनने की कोशिश कर चुके हैं, लेकिन दिनेश जैन की ही तरह व्यावहारिकता के अभाव में वह अपनी उम्मीदवारी को आगे नहीं बढ़ा सके थे । अब की बार हालाँकि वह 'ठीक से चलते' दिख रहे हैं । ओंकार सिंह रेनु भी उम्मीदवार के रूप में सक्रिय हैं । उनकी स्थिति लेकिन बड़ी विचित्र है - लोगों को उनसे कोई शिकायत नहीं है, लेकिन उनके समर्थक पूर्व गवर्नर्स से बहुतेरी शिकायतें हैं, और इस कारण से उनका काम बनता हुआ दिख नहीं रहा है । माना/समझा जा रहा है कि ऐसे में अजय बुद्धराज को डर हुआ कि कहीं बाजी अशोक मनचंदा के हाथ न लग जाए - इसलिए उन्होंने आनन फानन में दिनेश जैन को उम्मीदवार के रूप में मैदान में उतार दिया है । दिनेश जैन ने अपनी उम्मीदवारी के लिए समर्थन जुटाने की कोशिशों को शुरू करते ही, अपने आप को अजय बुद्धराज का उम्मीदवार बता कर - फिलहाल अजय बुद्धराज के लिए मुसीबत बढ़ा दी है ।