आगरा
। डिस्ट्रिक्ट के अधिष्ठापन समारोह में सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद
के लिए मधु सिंह की उम्मीदवारी को प्रमोट करने का कोई मौका तो हालाँकि नहीं छोड़ा गया, किंतु अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी ने सारा गुड़ - गोबर कर दिया । भूख
की बात तो छोड़िए, अधिष्ठापन समारोह में पहुँचे लोगों का प्यास के मारे जो
बुरा हाल हुआ, उसका नतीजा रहा कि तमाम लोग अधिष्ठापन समारोह की व्यवस्था
करने वाले पदाधिकारियों को तथा डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल को बुरी तरह कोसते नज़र
आए । समारोह में पहुँची महिलाओं का तो बदइंतजामी के कारण और भी बुरा हाल
हुआ - और वह तथा उनके पति बेबस नज़र आए । यूँ तो किसी भी कार्यक्रम में -
जिसमें चार/पाँच सौ लोग हों, थोड़ी बहुत बदइंतजामी तो हो ही जाती है, और कुछेक लोगों को परेशानी होती ही है; किंतु
क्लार्क शिराज़ में आयोजित हुए इस बार के डिस्ट्रिक्ट अधिष्ठापन समारोह में
जो नज़ारा देखने को मिला - वह अभूतपूर्व है । यही कारण है कि अधिष्ठापन
समारोह के भुक्तभोगियों ने वॉट्स ऐप पर अपने गुस्से का इज़हार किया है ।
यहाँ यह याद करना प्रासंगिक होगा कि बदइंतजामियों की शिकायतें लायंस
पदाधिकारी आपसी बातचीत में तो करते रहते हैं, लेकिन अपनी शिकायतों को
रिकॉर्ड पर लाने से वह बचते रहते हैं; पहली बार देखने में आया है कि लायंस
पदाधिकारी अपनी शिकायतें रिकॉर्ड पर ला रहे हैं - इससे यही जाहिर हुआ है कि
इस बार लोग बहुत ही परेशान हुए हैं, और उनके लिए अपने गुस्से और अपनी
नाराजगी को दबा/छिपा पाना मुश्किल हो रहा है; और वह खुल कर अधिष्ठापन
समारोह की बदइंतजामी की तथा उसके लिए जिम्मेदार लोगों की लानत-मलानत कर रहे
हैं ।
लायंस पदाधिकारियों की सबसे बड़ी शिकायत यही है कि अधिष्ठापन समारोह में लोगों को शाम चार बजे से बुला लिया गया, लेकिन रात नौ बजे तक चले कार्यक्रम के बीच पानी की सर्विस भी नहीं होने दी गई । होटल स्टॉफ के लोगों ने पानी माँग रहे लायंस को साफ साफ कह दिया कि आयोजनकर्ताओं ने कार्यक्रम के बीच में खाने-पीने की सर्विस खोलने से मना किया है - और चेतावनी के साथ मना किया है । कार्यक्रम के बीच में प्यास से व्याकुल हो रहे लोगों को यह देख/जान कर और परेशानी हुई कि हॉल से बाहर जाने के रास्ते/दरवाजे बंद हैं, और आने व जाने के लिए सिर्फ एक ही दरवाजा खुला हुआ है । सुरक्षा कारणों से इसे और भी ज्यादा खतरनाक माना/बताया गया । अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी को लेकर लिखी गईं एक वाट्स ऐप पोस्ट्स में कहा गया है कि समारोह की व्यवस्था देख रहे पदाधिकारियों की लापरवाही से कोई छोटी सी दुर्घटना बड़े हादसे में बदल सकती थी । समारोह के मंच संचालन में कोई व्यवस्था थी ही नहीं, और वक्ता लोग फालतू की तथा बेसिरपैर की बातें करते हुए और बेहूदा व अशालीन किस्म की चुटकुलेबाजी व शायरी करते हुए कार्यक्रम को लंबा खींच रहे थे - मंच संचालन करने वाले रोटरी नेताओं ने यह सब होने दिया, और इस बात की जरा भी परवाह नहीं की कि फालतू में लंबे खिंचते कार्यक्रम से लोगों की परेशानियाँ और बढ़ रही हैं । इसी का नतीजा रहा कि कार्यक्रम खत्म होने के बाद जब पानी और खाना खुला तो उसे लेने के लिए लोगों के बीच भारी अफरातफरी फैल गई और लोगों के बीच झगड़े तक की नौबतें आईं । डिस्ट्रिक्ट के पुराने लायन सदस्यों का कहना रहा कि बदइंतजामी से भरा इतना घटिया आयोजन डिस्ट्रिक्ट में इससे पहले कभी नहीं हुआ ।
डिस्ट्रिक्ट के अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी की राजनीतिक चोट लेकिन मधु सिंह पर पड़ी । दरअसल डिस्ट्रिक्ट के अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी और उसके कारण लायन सदस्यों व पदाधिकारियों को हुई परेशानी के लिए डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सहित जो लायन नेता व पदाधिकारी जिम्मेदार हैं, वही सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के लिए प्रस्तुत मधु सिंह की उम्मीदवारी की बागडोर सँभाले हुए हैं; इसलिए अपनी अपनी परेशानी का गुस्सा उतारने तथा बदला लेने के लिए लोगों को मधु सिंह की उम्मीदवारी के रूप में एक 'निशाना' मिल गया है । बदइंतजामी और परेशानियों का शिकार हुए लायन सदस्यों व पदाधिकारियों का गुस्सा मधु सिंह की उम्मीदवारी पर इसलिए भी फूट रहा है, क्योंकि उनकी परेशानियों को बढ़ाने में मधु सिंह की उम्मीदवारी को प्रमोट करने की डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल की कोशिश की भी बड़ी भूमिका रही । डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल ने सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के दूसरे उम्मीदवार सुमित गुप्ता को कार्यक्रम स्थल के नजदीक फैलोशिप स्टॉल लगाने की अनुमति नहीं दी; अनुमति तो उन्होंने इसलिए नहीं दी, ताकि सुमित गुप्ता डिस्ट्रिक्ट के लायन सदस्यों व पदाधिकारियों के बीच अपनी पहचान व पैठ न बना लें - लेकिन नतीजा उल्टा निकला । अब लोग सीपी सिंघल तथा मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक दूसरे नेताओं को कोस रहे हैं कि उनकी छोटी सोच ने लोगों को परेशानी में डाल दिया । लोगों का मानना और कहना है कि सुमित गुप्ता को फैलोशिप स्टॉल यदि लगाने दिया होता, तो कार्यक्रम में बदइंतजामी का शिकार हुए लोगों को इतनी परेशानी नहीं हुई होती ।
डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल और मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक अन्य नेताओं की इस बेवकूफीपूर्ण हरकत से सुमित गुप्ता को बहुत फायदा हुआ - उन्होंने होटल के एक कमरे में फैलोशिप की व्यवस्था करके लोगों को यह संदेश भी दे दिया कि वह तो लोगों को सुविधा उपलब्ध करवाना चाहते थे, और लोगों की सहानुभूति भी जुटा ली । मधु सिंह की उम्मीदवारी के प्रति लोगों के बीच विरोध फैला/बढ़ा - यह सुमित गुप्ता के लिए बोनस पाने जैसा मामला रहा । इस सारे प्रकरण को देखते/समझते हुए मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक नेताओं तक ने कहना शुरू कर दिया है कि मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक सीपी सिंघल तथा दूसरे नेताओं ने अधिष्ठापन समारोह को जिस तरह से अंजाम दिया है, उससे उम्मीदवार के रूप में मधु सिंह की मुश्किलें काफी बढ़ गईं हैं - और यदि आगे भी इसी तरह की बेवकूफियाँ होती रहीं, तो मधु सिंह पिछली बार तो करीब 80 वोटों से हारी थीं - अब की बार और ज्यादा वोटों से हारेंगी ।
लायंस पदाधिकारियों की सबसे बड़ी शिकायत यही है कि अधिष्ठापन समारोह में लोगों को शाम चार बजे से बुला लिया गया, लेकिन रात नौ बजे तक चले कार्यक्रम के बीच पानी की सर्विस भी नहीं होने दी गई । होटल स्टॉफ के लोगों ने पानी माँग रहे लायंस को साफ साफ कह दिया कि आयोजनकर्ताओं ने कार्यक्रम के बीच में खाने-पीने की सर्विस खोलने से मना किया है - और चेतावनी के साथ मना किया है । कार्यक्रम के बीच में प्यास से व्याकुल हो रहे लोगों को यह देख/जान कर और परेशानी हुई कि हॉल से बाहर जाने के रास्ते/दरवाजे बंद हैं, और आने व जाने के लिए सिर्फ एक ही दरवाजा खुला हुआ है । सुरक्षा कारणों से इसे और भी ज्यादा खतरनाक माना/बताया गया । अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी को लेकर लिखी गईं एक वाट्स ऐप पोस्ट्स में कहा गया है कि समारोह की व्यवस्था देख रहे पदाधिकारियों की लापरवाही से कोई छोटी सी दुर्घटना बड़े हादसे में बदल सकती थी । समारोह के मंच संचालन में कोई व्यवस्था थी ही नहीं, और वक्ता लोग फालतू की तथा बेसिरपैर की बातें करते हुए और बेहूदा व अशालीन किस्म की चुटकुलेबाजी व शायरी करते हुए कार्यक्रम को लंबा खींच रहे थे - मंच संचालन करने वाले रोटरी नेताओं ने यह सब होने दिया, और इस बात की जरा भी परवाह नहीं की कि फालतू में लंबे खिंचते कार्यक्रम से लोगों की परेशानियाँ और बढ़ रही हैं । इसी का नतीजा रहा कि कार्यक्रम खत्म होने के बाद जब पानी और खाना खुला तो उसे लेने के लिए लोगों के बीच भारी अफरातफरी फैल गई और लोगों के बीच झगड़े तक की नौबतें आईं । डिस्ट्रिक्ट के पुराने लायन सदस्यों का कहना रहा कि बदइंतजामी से भरा इतना घटिया आयोजन डिस्ट्रिक्ट में इससे पहले कभी नहीं हुआ ।
डिस्ट्रिक्ट के अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी की राजनीतिक चोट लेकिन मधु सिंह पर पड़ी । दरअसल डिस्ट्रिक्ट के अधिष्ठापन समारोह की बदइंतजामी और उसके कारण लायन सदस्यों व पदाधिकारियों को हुई परेशानी के लिए डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सहित जो लायन नेता व पदाधिकारी जिम्मेदार हैं, वही सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के लिए प्रस्तुत मधु सिंह की उम्मीदवारी की बागडोर सँभाले हुए हैं; इसलिए अपनी अपनी परेशानी का गुस्सा उतारने तथा बदला लेने के लिए लोगों को मधु सिंह की उम्मीदवारी के रूप में एक 'निशाना' मिल गया है । बदइंतजामी और परेशानियों का शिकार हुए लायन सदस्यों व पदाधिकारियों का गुस्सा मधु सिंह की उम्मीदवारी पर इसलिए भी फूट रहा है, क्योंकि उनकी परेशानियों को बढ़ाने में मधु सिंह की उम्मीदवारी को प्रमोट करने की डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल की कोशिश की भी बड़ी भूमिका रही । डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल ने सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के दूसरे उम्मीदवार सुमित गुप्ता को कार्यक्रम स्थल के नजदीक फैलोशिप स्टॉल लगाने की अनुमति नहीं दी; अनुमति तो उन्होंने इसलिए नहीं दी, ताकि सुमित गुप्ता डिस्ट्रिक्ट के लायन सदस्यों व पदाधिकारियों के बीच अपनी पहचान व पैठ न बना लें - लेकिन नतीजा उल्टा निकला । अब लोग सीपी सिंघल तथा मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक दूसरे नेताओं को कोस रहे हैं कि उनकी छोटी सोच ने लोगों को परेशानी में डाल दिया । लोगों का मानना और कहना है कि सुमित गुप्ता को फैलोशिप स्टॉल यदि लगाने दिया होता, तो कार्यक्रम में बदइंतजामी का शिकार हुए लोगों को इतनी परेशानी नहीं हुई होती ।
डिस्ट्रिक्ट गवर्नर सीपी सिंघल और मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक अन्य नेताओं की इस बेवकूफीपूर्ण हरकत से सुमित गुप्ता को बहुत फायदा हुआ - उन्होंने होटल के एक कमरे में फैलोशिप की व्यवस्था करके लोगों को यह संदेश भी दे दिया कि वह तो लोगों को सुविधा उपलब्ध करवाना चाहते थे, और लोगों की सहानुभूति भी जुटा ली । मधु सिंह की उम्मीदवारी के प्रति लोगों के बीच विरोध फैला/बढ़ा - यह सुमित गुप्ता के लिए बोनस पाने जैसा मामला रहा । इस सारे प्रकरण को देखते/समझते हुए मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक नेताओं तक ने कहना शुरू कर दिया है कि मधु सिंह की उम्मीदवारी के समर्थक सीपी सिंघल तथा दूसरे नेताओं ने अधिष्ठापन समारोह को जिस तरह से अंजाम दिया है, उससे उम्मीदवार के रूप में मधु सिंह की मुश्किलें काफी बढ़ गईं हैं - और यदि आगे भी इसी तरह की बेवकूफियाँ होती रहीं, तो मधु सिंह पिछली बार तो करीब 80 वोटों से हारी थीं - अब की बार और ज्यादा वोटों से हारेंगी ।