चंडीगढ़ । लीडरशिप डेपलपमेंट प्रोग्राम के नाम पर शुरू की गई राजा साबू और उनके साथी पूर्व गवर्नर्स की 'राजनीति' को लगातार दूसरे वर्ष ऐसी चोट पड़ी है कि उनकी सारी 'लीडरी' हवा होती नजर आ रही है । करीब 17/18 वर्षों से डिस्ट्रिक्ट में लीडरशिप एकेडमी चला रहे राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स को लगातार दूसरे वर्ष पार्टिसिपेंट न मिल पाने के कारण वर्कशॉप प्रोग्राम रद्द करने के लिए मजबूर होना पड़ा है । उल्लेखनीय है कि इनकी लीडरशिप एकेडमी की तरफ से 24 से 26 मई के बीच वर्कशॉप करने की घोषणा की गई थी, जिसके लिए 18 हजार रुपए की कोर्स फीस तय की गई थी । इसी के साथ निवर्त्तमान डिस्ट्रिक्ट गवर्नर व डिस्ट्रिक्ट रोटरी फाउंडेशन चेयरमैन टीके रूबी द्वारा संस्थापित लीडरशिप इंस्टीट्यूट की तरफ से 4 से 5 मई के बीच प्रोग्राम का संदेश आ गया, जिसके लिए कोर्स फीस 5500 घोषित हुई । राजा साबू 'की' एकेडमी का कार्यक्रम हालाँकि दो दिन का था, लेकिन फिर भी टीके रूबी 'के' इंस्टीट्यूट के एक दिन के 5500 रुपए के मुकाबले उसकी 18000 रुपए की फीस को लोगों ने काफी महँगा माना/पाया । कोर्स फीस के इस बड़े अंतर पर लोगों के बीच इस तरह की चर्चाएँ भी शुरू हुईं कि राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स ने लीडरशिप प्रोग्राम को कहीं 'कमाई' का जरिया तो नहीं बनाया हुआ है । इस तरह की बातों और आशंकाओं के चलते लोगों ने राजा साबू की लीडरशिप एकेडमी के प्रोग्राम में कोई दिलचस्पी नहीं ली, और इसलिए एकेडमी को अपना प्रोग्राम रद्द करने के लिए मजबूर होना पड़ा ।
मजेदार नजारा यह रहा कि राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स को जब अपना प्रोग्राम फेल होता हुआ दिखा तो उन्होंने टीके रूबी के इंस्टीट्यूट के प्रोग्राम को फेल करने के लिए कमर कसी, जिसके तहत उन्होंने एक तरफ तो डिस्ट्रिक्ट के लोगों को और दूसरी तरफ दूसरे डिस्ट्रिक्ट्स से आने वाले फैकल्टी सदस्यों को इंस्टीट्यूट में न जाने/आने के लिए भड़काया, लेकिन उनकी तरकीब सफल नहीं हो सकी और टीके रूबी के इंस्टीट्यूट का प्रोग्राम कामयाबी के साथ संपन्न हुआ । उल्लेखनीय है कि पिछले वर्ष जब राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स को अपनी वर्कशॉप रद्द करना पड़ी थी, तब उन्होंने उसका ठीकरा तत्कालीन डिस्ट्रिक्ट गवर्नर टीके रूबी के सिर फोड़ा था । उनका आरोप था कि डिस्ट्रिक्ट गवर्नर के रूप में टीके रूबी ने लोगों को उनके प्रोग्राम में आने से रोका और इसलिए उन्हें अपना प्रोग्राम रद्द करना पड़ा । लेकिन इस वर्ष तो डिस्ट्रिक्ट गवर्नर वाली 'ताकत' उनके पास थी, फिर भी वह अपना प्रोग्राम नहीं कर सके और न टीके रूबी के इंस्टीट्यूट के प्रोग्राम को अपने तमाम प्रयासों के बावजूद फेल कर सके । दरअसल डिस्ट्रिक्ट में वर्षों से होने वाले लीडरशिप प्रोग्राम के साक्षी रहे वरिष्ठ लोगों का मानना और कहना है कि टीके रूबी द्वारा संस्थापित लीडरशिप इंस्टीट्यूट के कार्यक्रमों में अपनाई जाने वाली कार्यप्रणाली ने लोगों को अपनी अपनी लीडरशिप क्वालिटी डेवलप करने का व्यावहारिक मौका दिया है, जबकि राजा साबू की एकेडमी के कार्यक्रमों में लीडरी थोपने का नजारा ज्यादा दिखता था, और इसीलिए उनके प्रोग्राम में लोग मजबूरीवश ही शामिल होते थे । यही कारण है कि जैसे ही उन्हें लीडरशिप इंस्टीट्यूट के रूप में बेहतर विकल्प मिला, उन्होंने लीडरशिप एकेडमी से मुँह मोड़ लिया और राजा साबू व उनके साथी गवर्नर्स के लिए डिस्ट्रिक्ट में लीडरशिप डेवलपमेंट प्रोग्राम के लिए लोगों को जुटा पाना मुश्किल ही नहीं, बल्कि असंभव हो गया ।
डिस्ट्रिक्ट के कई वरिष्ठ रोटेरियंस के अनुसार, इस हालत के लिए राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स ही जिम्मेदार हैं । दरअसल पिछले रोटरी वर्ष में जब डिस्ट्रिक्ट की लीडरशिप एकेडमी ने अपनी वार्षिक वर्कशॉप की तैयारी शुरू की, तो उस तैयारी से डिस्ट्रिक्ट गवर्नर के रूप में टीके रूबी को पूरी तरह अलग-थलग रखा । रोटरी इंटरनेशनल के प्रावधानों के अनुसार, डिस्ट्रिक्ट में कोई भी ऐसा आयोजन नहीं हो सकता है, जिसमें डिस्ट्रिक्ट गवर्नर की भागीदारी और या सहमति न हो; लेकिन राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स ने अपनी मनमानी व चौधराहट दिखाते हुए लीडरशिप डेवलपमेंट प्रोग्राम में डिस्ट्रिक्ट गवर्नर के रूप में टीके रूबी को किसी भी रूप में शामिल नहीं किया । यह देख/जान कर टीके रूबी ने डिस्ट्रिक्ट में रोटरी लीडरशिप इंस्टीट्यूट की नींव रखी और रोटरी इंटरनेशनल के लीडरशिप प्रोग्राम को डिस्ट्रिक्ट में एक नई पहचान के साथ प्रस्तुत किया । टीके रूबी ने लीडरशिप प्रोग्राम को जो नया डिजाईन दिया और जिस तरह से उसका खर्चा कम रखा, उसने डिस्ट्रिक्ट के लोगों को आकर्षित किया और डिस्ट्रिक्ट के लोगों ने पहली बार लीडरशिप के वास्तविक मायनों को जाना/पहचाना । राजा साबू और उनके साथी गवर्नर्स की लीडरशिप एकेडमी को टीके रूबी के लीडरशिप इंस्टीट्यूट से जो जोर का झटका लगा, उससे कोई सबक सीखने की बजाए वह आरोपों-प्रत्यारोपों में ही उलझे रहे; जिसका नतीजा यह हुआ कि इस वर्ष भी डिस्ट्रिक्ट के लोगों ने टीके रूबी के लीडरशिप इंस्टीट्यूट के आयोजन को प्राथमिकता दी, और राजा साबू तथा उनके साथी गवर्नर्स को अपना आयोजन रद्द करने के लिए मजबूर होना पड़ा है ।