पानीपत । विनय गर्ग के इंटरनेशनल डायरेक्टर पद के लिए एंडोर्समेंट लेने की 'इंटेंशन' प्रकट करने से डिस्ट्रिक्ट की चुनावी राजनीति तो भड़क ही उठी है, उसकी आँच ने सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के चुनाव को भी गर्मी दे दी है । मजे की बात यह है कि सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के लिए विनय गर्ग का समर्थन प्राप्त कर रहे दिनेश जोशी की उम्मीदवारी के समर्थक इस बात पर बँटे हुए हैं कि विनय गर्ग की यह इंटेंशन उन्हें फायदा पहुँचायेगी या नुकसान ? दिनेश जोशी के कुछेक समर्थकों को विनय गर्ग की इस इंटेंशन में दिनेश जोशी की उम्मीदवारी को फायदा पहुँचता 'दिख' रहा है; उनका दावा तो बल्कि यह है कि दिनेश जोशी की उम्मीदवारी को फायदा पहुँचाने के उद्देश्य से ही विनय गर्ग ने यह चाल चली है - अन्यथा इस 'इंटेंशन' के लिए अभी किसी भी लिहाज से उचित समय नहीं है; दूसरी तरफ लेकिन दिनेश जोशी के अन्य कुछेक समर्थकों को लगता है और उनका कहना है कि विनय गर्ग की इस घोषणा ने पहले से ही मुसीबत का शिकार बनी दिनेश जोशी की उम्मीदवारी को और ज्यादा मुसीबत में फँसा दिया है । दरअसल सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के दूसरे उम्मीदवार दिनेश बत्रा के समर्थकों ने यह कहते हुए मामले को भड़काया है कि जिन विनय गर्ग की लायन सदस्यता तक खतरे में है और जो सिर्फ अदालती कार्रवाई के चलते बची हुई है, वह विनय गर्ग इंटरनेशनल डायरेक्टर बनने का सपना क्यों और कैसे देख रहे हैं ? विनय गर्ग को लेकर कही/सुनाई जा रहीं इस तरह की बातें डिस्ट्रिक्ट के लोगों को नकारात्मक रूप में प्रभावित कर ही सकती हैं; और यह चीज दिनेश जोशी की सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद की उम्मीदवारी को नुकसान पहुँचाने का काम कर सकती है ।
विनय गर्ग पिछले वर्ष मल्टीपल काउंसिल चेयरमैन थे । चेयरमैन के रूप में उनके कुछेक फैसले और रवैये पर लायंस इंटरनेशनल के साथ उनका कुछ खटराग हुआ, जिसके चलते लायंस इंटरनेशनल के पदाधिकारी उनकी लायन सदस्यता के ही दुश्मन बन बैठे । लायंस इंटरनेशनल के मनमाने व तानाशाहीपूर्ण फैसले के खिलाफ विनय गर्ग ने अदालत की शरण ली, जिसके चलते लायंस इंटरनेशनल के पदाधिकारियों की मनमानी पर अमल करने की रोक तो लग गई - लेकिन विनय गर्ग की सदस्यता पर लटकी तलवार अभी भी लटकी हुई ही है । लायंस इंटरनेशनल की तरफ से लायंस को-ऑर्डिनेशन कमेटी ऑफ इंडिया एसोसिएशन द्वारा भारत के लायन लीडर्स की जो डायरेक्टरी प्रकाशित है, उसमें विनय गर्ग की जहाँ फोटो छपना चाहिए थी, वहाँ इस आशय की जानकारी प्रकाशित की गई है । ऐसे में, इंटरनेशनल डायरेक्टर पद के एंडोर्समेंट के लिए दी गई उनकी 'इंटेंशन' ने उनके विरोधियों को उनके खिलाफ बयानबाजी करने का मौका दिया है, और इस मौके के इस्तेमाल के चलते डिस्ट्रिक्ट की चुनावी राजनीति में गर्मी पैदा हो गई है । इस गर्मी ने लेकिन सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद के लिए विनय गर्ग के समर्थित उम्मीदवार दिनेश जोशी को मुसीबत में डाल दिया है । उनके लिए लोगों के इस सवाल का जबाव देना कई कारणों से मुश्किल बना हुआ है कि जब विनय गर्ग की लायन सदस्यता ही संकट में फँसी हुई है, तब विनय गर्ग आखिर किस बिना पर इंटरनेशनल डायरेक्टर पद के लिए एंडोर्समेंट लेने की सोच रहे हैं ?
विनय गर्ग के इस नए विवाद में फँस जाने से दिनेश जोशी की उम्मीदवारी के अभियान पर भी प्रतिकूल असर पड़ने का डर पैदा हुआ है । दरअसल दिनेश जोशी की उम्मीदवारी के दो ही बड़े समर्थक सक्रिय रहे हैं - एक डिस्ट्रिक्ट गवर्नर रवि मेहरा और दूसरे पूर्व डिस्ट्रिक्ट गवर्नर व निवर्त्तमान मल्टीपल काउंसिल चेयरमैन विनय गर्ग; डिस्ट्रिक्ट गवर्नर रवि मेहरा थाईलैंड में हुए अधिष्ठापन समारोह में हुई बदइंतजामी और लूट-खसोट के झमेले से अभी तक उबर नहीं पाए हैं, इसलिए ले-दे कर एक अकेले विनय गर्ग ही दिनेश जोशी की उम्मीदवारी के एक बड़े समर्थक बचे रह गए थे - लेकिन अब उनके भी खामख्वाह एक विवाद को आमंत्रित कर लेने से दिनेश जोशी के लिए मुसीबत की स्थिति बन गई है । दिनेश जोशी की उम्मीदवारी के साथ यूँ तो सब कुछ अच्छा ही अच्छा है; दिनेश बत्रा के मुकाबले हर तुलना में दिनेश जोशी का पलड़ा भारी है, लेकिन फिर भी उनकी उम्मीदवारी की वैसी हवा नहीं बन पा रही है, जैसी कि बनना चाहिए थी - तो इसका एक ही कारण दिखता है और वह यह कि उनकी उम्मीदवारी के साथ चुनावी नजरिये से कोई बड़ा नाम सक्रिय नहीं है । दिनेश जोशी की उम्मीदवारी का सारा बोझ एक अकेले सेकेंड वाइस डिस्ट्रिक्ट गवर्नर रमन गुप्ता के कंधे पर डला/पड़ा हुआ है । विनय गर्ग तथा खेमे के अन्य पूर्व गवर्नर्स की छत्रछाया में रमन गुप्ता अच्छे से दिनेश जोशी की उम्मीदवारी की कमान सँभाले हुए थे भी - लेकिन इंटरनेशनल डायरेक्टर पद के एंडोर्समेंट के लिए विनय गर्ग के 'इंटेंशन' देने के चलते छिड़े विवाद ने दिनेश जोशी की उम्मीदवारी के अभियान में अलग तरह की समस्या पैदा कर दी है ।