Wednesday, October 25, 2017

रोटरी इंटरनेशनल के उच्च पदाधिकारियों के बीच प्रशंसा और सम्मान पाती रहीं डिस्ट्रिक्ट 3011 की अत्यंत सक्रिय रोटेरियन आभा झा चौधरी को 'वर्ल्ड पोलियो डे' के आयोजन के लिए अपने ही डिस्ट्रिक्ट के गवर्नर रवि चौधरी की बदतमीजी का शिकार होना पड़ा

नई दिल्ली । डिस्ट्रिक्ट गवर्नर रवि चौधरी ने 'वर्ल्ड पोलियो डे' पर कार्यक्रम करने के लिए डिस्ट्रिक्ट पोलियोप्लस कमेटी की चेयरपरसन आभा झा चौधरी के साथ जिस तरह की बदतमीजी की और कार्यक्रम को खराब करने का प्रयास किया, उससे डिस्ट्रिक्ट के लोगों को एक बार फिर इस बात का सुबूत मिला है कि रवि चौधरी डिस्ट्रिक्ट ही नहीं बल्कि रोटरी पर एक कलंक की तरह हैं । डिस्ट्रिक्ट गवर्नर इलेक्ट विनय भाटिया कार्यक्रम में रवि चौधरी की हरकतों पर जिस तरह से मजे लेते दिखे, उससे लोगों को यह भी लग रहा है कि घटियापन करने/दिखाने के मामले में विनय भाटिया भी रवि चौधरी से कम साबित नहीं होंगे । आभा
झा चौधरी के क्लब के वरिष्ठ सदस्य और डिस्ट्रिक्ट गवर्नर नॉमिनी पद के उम्मीदवार संजीव राय मेहरा ने बाद में जिस तरह आभा झा चौधरी पर इस बात के लिए दबाव बनाया कि वह रवि चौधरी की हरकत को नजरअंदाज कर दें और डिस्ट्रिक्ट में लोगों से इस बारे में बात न करें, क्योंकि उसके उनकी उम्मीदवारी को रवि चौधरी की मदद नहीं मिल पायेगी - उससे लग रहा है कि डिस्ट्रिक्ट 3011 की किस्मत में घटिया सोच और व्यवहार के लोग ही गवर्नर बनने बदे हैं । संजीव राय मेहरा डिस्ट्रिक्ट के एक पुराने रोटेरियन हैं और उन्हें एक भले और जेनुइन व्यक्ति के रूप में देखा/पहचाना जाता है । लेकिन उन्हें रवि चौधरी के 'एजेंट' के रूप में काम करता देख लोगों को झटका लगा है - संजीव राय मेहरा ने पहले तो आभा झा चौधरी के साथ की जा रही रवि चौधरी की बदतमीजी को चुपचाप तमाशे की तरह देखा, और एक बार भी रवि चौधरी को रोकने की कोशिश नहीं की; और फिर आभा झा चौधरी पर ही इस बात के लिए दबाव बनाने का प्रयास किया कि वह रवि चौधरी की हरकत का किसी से जिक्र न करें और जो हुआ उसे भूल जाएँ ।
आभा झा चौधरी क्या, अन्य किसी ने भी सपने में भी नहीं सोचा होगा कि 'वर्ल्ड पोलियो डे' पर अपनी पहल और अपनी अकेले की सक्रियता के दम पर कार्यक्रम करने के बावजूद उन्हें रवि चौधरी की बदतमीजी का शिकार होना पड़ेगा । उल्लेखनीय है कि आभा झा चौधरी को रवि चौधरी ने ही अपनी टीम में डिस्ट्रिक्ट पोलियोप्लस कमेटी की दिल्ली की चेयरपरसन का पद दिया हुआ है । 'वर्ल्ड पोलियो डे' को नजदीक आता देख आभा झा चौधरी को जब डिस्ट्रिक्ट गवर्नर ऑफिस से कुछ कार्यक्रम करने का निर्देश या सुझाव मिलता हुआ नहीं दिखा, तो उन्होंने स्वयं ही पहल करते हुए रवि चौधरी से कुछ कार्यक्रम करने की जरूरत को रेखांकित करते हुए बात की । रवि चौधरी ने उनकी बात से सहमति व्यक्त की और उनसे कह दिया कि आप जैसा उचित समझें और अपने स्तर पर आप जो कर सकती हों, वह कर लें । रवि चौधरी ने उचित समय पर कार्यक्रम में पहुँचने के लिए वायदा भी कर लिया । हालाँकि इसके साथ ही रवि चौधरी ने उनसे यह भी साफ साफ कह दिया कि उक्त कार्यक्रम में डिस्ट्रिक्ट गवर्नर कार्यालय कोई मदद नहीं कर पायेगा । आभा झा चौधरी पिछले तीन चार वर्षों से 'वर्ल्ड पोलियो डे' पर अपनी पहल और अपनी अकेले की मेहनत से कार्यक्रम करती रही हैं तथा रोटरी इंटरनेशनल के पोलियो मुक्ति अभियान के लिए फंड इकट्ठा करती रहीं हैं - और इसके लिए देश में ही नहीं, बल्कि इंटरनेशनल तक में प्रशंसा और पुरस्कार प्राप्त करती रहीं हैं । उनकी सक्रियता और संलग्नता से प्रभावित होकर ही रोटरी इंटरनेशनल ने पोलियो खत्म करने के अभियान को चलाने के लिए फंड्स इकट्टा करने के उद्देश्य से शुरू की गई 'वर्ल्ड ग्रेटेस्ट मील' परियोजना में आभा झा चौधरी को भारत का 'कंट्री-कोऑर्डीनेटर' का पद सौंपा है ।
रोटरी तथा रोटरी के महत्त्वपूर्ण कार्यक्रम के रूप में पोलियो मुक्ति अभियान के लिए गहरी संलग्नता के साथ काम करने के चलते देश/विदेश के डिस्ट्रिक्ट्स में प्रशंसा और सम्मान पा रहीं आभा झा चौधरी को लेकिन अपने ही डिस्ट्रिक्ट के गवर्नर रवि चौधरी की बदतमीजी का शिकार होना पड़ा । कार्यक्रम में पहुँचते ही रवि चौधरी ने आभा झा चौधरी को यह कहते हुए निशाना बनाया कि यह कार्यक्रम तो आपका है । आभा झा चौधरी ने यह कहते हुए उन्हें जबाव दिया कि यह कार्यक्रम मेरा नहीं, बल्कि रोटरी का, रोटरी के एक प्रमुख उद्देश्य का और डिस्ट्रिक्ट का कार्यक्रम है; डिस्ट्रिक्ट पोलियोप्लस कमेटी की चेयरपरसन होने के नाते मैं तो इसमें सिर्फ आयोजक की भूमिका निभा रही हूँ । यह सुन कर रवि चौधरी बुरी तरह भड़क गए और मौके पर उपस्थित लोगों के सामने ही निहायत बदतमीजी से कहने लगे कि आपने प्रेसीडेंट्स को कैसे इसमें आमंत्रित कर लिया तथा वॉट्सऐप पर आप इस बारे में मैसेज कैसे कर रही हैं और आप पोलियो के लिए फंड जुटाने का काम कैसे कर रही हैं ? रवि चौधरी के बदतमीजीपूर्ण व्यवहार के बावजूद अपने को संयत बनाये रखते हुए आभा झा चौधरी ने उन्हें याद दिलाया कि उन्होंने ही कल ही उन्हें अनुमति दी थी कि वह जैसा उचित समझें, वैसे कार्यक्रम को करें । आभा झा चौधरी ने उन्हें याद दिलाया कि पिछले तीन-चार वर्षों से वह इसी तरह से कार्यक्रम करती आ रही हैं, और पिछले सभी गवर्नर्स ने उनके काम की प्रशंसा की है; आभा झा चौधरी ने उन्हें यह भी याद दिलाया कि पिछले वर्ष के कार्यक्रम में तो वह स्वयं भी उपस्थित थे और उन्होंने भी कार्यक्रम की तथा उनके प्रयासों की जमकर तारीफ भी की थी । इन बातों से रवि चौधरी ने अपनी बेवकूफी से बुने जाल में खुद को ही फँसे पाया, तो वह और बिफर गए । पता नहीं कि वह घर से या कहीं और से दुत्कार खा कर आये थे कि वहाँ का सारा फ्रस्टेशन और गुस्सा वह आभा झा चौधरी पर निकालने में लग गए । उन्होंने आभा झा चौधरी को इस बात पर घेरने की कोशिश की, कि यहाँ जो फंड इकट्ठा किया जा रहा है - वह कहाँ जायेगा ? आभा झा चौधरी ने उनकी इस बात का भी शालीनता से तर्कपूर्ण जबाव दिया कि आप डिस्ट्रिक्ट गवर्नर हैं, आपको यह पूछने की बजाये यह देखना/समझना चाहिए कि यहाँ इकट्ठा हुआ फंड जा कहाँ रहा है । डिस्ट्रिक्ट गवर्नर के पद पर होने के बावजूद रवि चौधरी को लेकिन देखना/समझना तो कुछ था नहीं, उन्हें तो सिर्फ बदतमीजी करनी थी - जो उन्होंने जमकर की ।
आभा झा चौधरी के साथ बदतमीजी करते हुए रवि चौधरी डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद की जिम्मेदारी और मर्यादा तक भूल बैठे । डिस्ट्रिक्ट गवर्नर पद की गर्मी दिखाते हुए रवि चौधरी ने मौके पर मौजूद लोगों के बीच यहाँ तक कह दिया कि वह डिस्ट्रिक्ट गवर्नर हैं और उनकी मर्जी है कि वह 'वर्ल्ड पोलियो डे' मनाये या न मनाये । आभा झा चौधरी ने उन्हें इसका भी सटीक जबाव दिया कि बेशक उन्हें यह अधिकार है, इस अधिकार का उपयोग करते हुए वह कल उन्हें इस कार्यक्रम को करने से इंकार कर सकते थे; और पोलियो पर उन्हें यदि कुछ करना ही नहीं है तो अपनी टीम में उन्होंने पोलियो कमेटी के नाम पर दस दस पदाधिकारी क्यों बनाये हुए हैं ? रवि चौधरी की हर बात मौके पर मौजूद लोगों के बीच बेवकूफीभरी साबित होती जा रही थी, इससे वह और तिलमिलाते जा रहे थे । तिलमिलाहटभरी अपनी बदतमीजी को लेकिन उन्हें तब कंट्रोल करना पड़ा, जब वरिष्ठ पूर्व डिस्ट्रिक्ट गवर्नर मंजीत साहनी और दीपक कपूर कार्यक्रम में पहुँचे । रवि चौधरी के लिए उस समय बड़ी शर्मिंदगी की स्थिति पैदा हो गई जब पूर्व डिस्ट्रिक्ट गवर्नर तथा इंडिया पोलियोप्लस कमेटी के चेयरमैन दीपक कपूर ने आभा झा चौधरी के प्रयत्नों की जोरदार शब्दों में तारीफ की और उन्हें 'रोटरी का गौरव' बताया, और मंजीत साहनी ने आभा झा चौधरी की सक्रियता व संलग्नता को प्रेरणास्पद बताते हुए फंड जुटाने के अभियान में अपनी तरफ से चेक दिया ।
कई मौकों पर लताड़ खाने तथा दुत्कारे जाने के बावजूद रवि चौधरी ने लेकिन शर्मिंदा होना नहीं सीखा है । 'वर्ल्ड पोलियो डे' के कार्यक्रम में तमाशा और बदतमीजी करने को लेकर फजीहत का शिकार होने के बाद भी वह डिस्ट्रिक्ट गवर्नर इलेक्ट विनय भाटिया के साथ आभा झा चौधरी को लेकर बकवासबाजी करते रहे, और विनय भाटिया उनकी बातों में रस लेते रहे । दोनों में से किसी को भी इस बात का अहसास नहीं हुआ कि वह जो हरकत कर रहे हैं - वह न सिर्फ रोटरी के उद्देश्यों/लक्ष्यों तथा रोटरी की भावना के खिलाफ है, बल्कि रोटरी के एक बड़े अभियान और डिस्ट्रिक्ट और अपनी ही टीम के एक बड़े पदाधिकारी; तथा इससे भी बढ़कर एक महिला की मेहनत और गरिमा के खिलाफ है । लोगों ने बार बार ऐसा महसूस किया है कि जैसे रवि चौधरी और विनय भाटिया जैसे लोगों ने रोटरी को लफंगई का एक अड्डा समझा हुआ है, जिसे 'वर्ल्ड पोलियो डे' के कार्यक्रम में उन्होंने एक बार फिर जाहिर किया । संजीव राय मेहरा जैसे वरिष्ठ और सुलझे हुए समझे जाने वाले रोटेरियन के रवैये ने लोगों को लेकिन और ज्यादा चौंकाया है । अपने ही क्लब की अत्यंत सक्रिय रोटेरियन आभा झा चौधरी का साथ देने की बजाये संजीव राय मेहरा जिस तरह से रवि चौधरी की करतूत को छिपाने के लिए आभा झा चौधरी पर दबाव बना रहे हैं, वह डिस्ट्रिक्ट 3011 के भावी माहौल के लिए कोई अच्छे संकेत नहीं हैं ।